रविवार को तीन करोड़ लोगों ने एक साथ गाई संघ की प्रार्थना
संघ की कुटुंब शाखा में पचास लाख परिवारों ने की भागीदारी
लॉक डॉउन के समय राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के अनूठे आयोजन ने इतिहास रच दिया। जैसे ही रविवार को शाम साढ़े पांच बजी। वैसे ही देश के पचास लाख परिवारों में नमस्ते सदा वत्सले मातृभूमें त्वया हिंदूभूमे सुखवं वर्धितोहम’ गूंजने लगा। येे प्रभाव था संघ के कुटुंब शाखा लगाने के आह्वान का। इसके पहले इस तरह का कभी कोई आयोजन नहीं किया था। इस तरह से ये पहला अवसर था जब कि संघ की प्रार्थना इतने बड़े पैमाने पर घर-घर गाई गई।
कोरोना वायरस के संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए लगाए गए लॉक डॉउन के बाद संघ की नियमित शाखाएं भी अभी नहीं लग रही हैं। इसके चलते रविवार को कुटुंब शाखा लगाने की तैयारी की गई थी। सोशल मीडिया के माध्यम से इसकी सूचनाएं प्रसारित हुईं ।और इस तरह का पहला आयोजन ही इतिहास रच गया। संघ के अ्नुसार इस शाखा का सबसे महत्वपूर्ण तत्व यह है कि इससे परिवारों को भी शाखा के बारे में जानने का अवसर मिला। साथ ही पूरे परिवार ने एक साथ शाखा का अनुभव लिया।
इसके माध्यम से स्वयंसेवक परिवार में महिलाओं के साथ-साथ बच्चों को भी संघ के बारे में बताने में सफल रहे। लॉकडाउन को लेकर मैदानों में शाखा बंद हैं, ऐसे में कुटुंब शाखा के माध्यम से व्यक्ति निर्माण की प्रक्रिया जारी रही। साथ साथ ही साथ बच्चों में संस्कार देने का भी काम हुआ।
लॉक डॉउन तक चलती रहेगी गतिविधियां
कोरोना वायरस के कारण चिकित्सक भी योग करने की सलाह लोगों को दे रहे हैं। स्वयंसेवक तो शाखा में प्रत्येक दिन योग, व्यायाम करते ही थे। अधिकतर परिवार की महिलाओं व बच्चों को यह मौका नहीं मिलता था। कुटुंब शाखा के कारण पूरा परिवार एक साथ योग करता है। इससे लोगों को काफी फायदा हो रहा है। घरों में शाखा लगाने की प्रक्रिया कोरोना वायरस के कारण उत्पन्न संकट की स्थिति तक जारी रहेगी।
इसके लिए कई वाट्सएप ग्रुपों में स्वयंसेवकों की ओर से ऑडियो और वीडियो भी तैयार कर जारी किया गया था। ताकि जिन्हें प्रार्थना याद नहीं है वे सुनकर कर सकें। कुटुंब शाखा में जो स्वयंसेवक जहां उसे वहीं शाखा लगाने के लिए कहा गया था। इसके चलते न केवल घरों पर बल्कि झारखंड में तो खेत खलिहान में भी कुटुंब शाखा लगाई।
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